Modi yogi
Achyutananda bhavishya malika : इस वक्त 500 वर्ष पूर्व उड़ीसा में जगन्नाथ के पास जन्में संत अच्युतानंद महाराज की लिखी पुस्तक 'भविष्य मालिका' की भविष्यवाणियां वायरल हो रही है। उड़ीसा में अच्युतानंद जी को दिव्य शक्तियों से संपन्न बहुत बड़ा योगी और संत माना जाता है। उन्होंने ये भविष्वाणियां ताड़ के पत्रों पर लिखी थी। वर्तमान में उनकी लिखी भविष्यवाणियां वायरल हो रही है। आओ जानते हैं कुछ खास भविष्वाणियां।
कौन है अच्युतानंद (who is achyutananda) : कहा जा रहा है कि संत अच्युतानंद चैतन्य महाप्रभु के मित्र थे। वह आध्यात्मिकता और साहित्य पंचसखा (अच्युतानंद दास, अनंत दास, जसवंत दास, जगन्नाथ दास और बलराम दास) के प्रसिद्ध पांच मित्रों में से एक थे, जिन्होंने ओडिशा के लोगों के लिए प्राचीन हिंदू संस्कृत ग्रंथों को ओड़िया भाषा में ट्रांसलेट किया था। उन्होंने कई विषयों पर किताबें लिखी है। संत के बारे में कहा जाता है कि उनकी पुस्तक में उनके अनेक जन्मों का विवरण भी है। सतयुग में वे एक महर्षि थे। त्रेता में नल नामक वानर बनकर उन्होंने श्रीराम की सेवा की और द्वापर सुदामा बनकर उन्होंने श्रीकृष्ण की भक्ति की। वहीं कलयुग में अच्युदानंद दास बनकर श्रीकृष्ण भक्ति के प्रचार में सहयोग किया। कहते हैं कि अच्युतानंद महाराज जन्म से गोपाल यादव थे। अच्युतानंद का जन्म उड़िसा के तिलकाना नाम के एक गांव में हुआ था। उस समय गजपति (राजा) पुरुषोत्तम देवा थे। उनके काल को विद्वानों द्वारा 1480 और 1505 के बीच कहीं माना जाता है। उनकी माता का नाम पद्मावती और पिता का नाम दीनबंधु खुंटिया था। उनके दादा गोपीनाथ मोहंती जगन्नाथ मंदिर में एक मुंशी थे।
भविष्य मालिका (bhavishya malika) : लोगों का मानना है कि उन्होंने अपनी सभी पुस्तकें अपनी योग शक्ति से लिखी है। कहा जाता है कि उड़ीसा में एक लाख मालिका की पुस्तकें हैं। लेकिन इस समय सैंकड़ों पुस्तकों की ही जानकारी लोगों को है। हालांकि यह सभी पुस्तकें जगन्नाथ पुरी के महंतों के अधिकार में है। कहा जा रहा है कि वे इन पुस्तकों को हर किसी को नहीं दिखाते हैं।
भविष्वाणियों के मुख्य बिंदू (bhavishya malika predictions) : उनकी भविष्यवाणियों में कलयुग में अकाल, युद्ध, विस्फोट, भूचाल, महामारी के साथ ही देशों के भविष्य को लेकर भी भविष्यवाणियां हैं। उन्होंने भारत, अमेरिका और रूस को लेकर भी भविष्यवाणी की है। उन्होंने ऐसे संकेत दिए हैं जिससे यह पता चल सके की यह भविष्यवाणियां कब घटित होने वाली है। उन्होंने जगन्नाथ मंदिर से जुड़ी भविष्वाणियों के आधार पर ही विश्व की घटनाओं का उल्लेख किया है। उन्होंने कलयुग के अंत और इस काल में घटने वाली घटनाओं का भी जिक्र किया है।
Third world war
अच्युतानंद महाराज की वायरल हो रही प्रमुख भविष्यवाणियां (prediction of Achyutanand Maharaj going viral):
1. योरप की लगभग सभी आबादी नष्ट हो जाएगी। कुछ समय के बाद अमेरिका पानी में डूब जाएगा। अंत में रूस सफलता प्राप्त करेगा। विजयी रूस को आगामी अवतार वश में करेगा।...लोग कीट-पंतंगों की तरह मरेंगे और विश्व की जनसंख्या 64 करोड़ ही रह जाएगी। चीन तबाह हो जाएगा। रूस हिन्दू राष्ट्र बन जाएगा। भारत का अंतिम राजा ऐसा होगा जिसकी कोई संतान नहीं होगी। वह एक योगी पुरुष होगा। भविष्य मालिका के अनुसार 2025 के बाद का समय एक विभिषिका के समान होगा। वहीं लोग बचेंगे तो सत्य और धर्म के मार्ग पर चलेंगे।
2. भारत के संदर्भ में कन्नड़ में लिखी भविष्वाणी के अनुवाद में यह कहा जाता है कि 6 और 7 का जोड़ 13 होता है और इसी में 13 और मिलाने से 26 अंक आता है। इसी 26 अंक के माध्यम से अच्युतानंद दास ने भारत पर होने वाले हमले के बारे में भविष्वाणी की है। इस्लामिक देश हमला करेंगे और तबाही होगी। शनि जब मीन राशि में प्रवेश करेंगे तब भारत पर संकट के बादल छाएंगे। साल 2024 में शनि कुंभ से निकलकर मीन राशि में जाने वाले हैं।
3. शनि के मीन में जाने से वह वहां ढाई वर्ष तक रहेगा। भविष्यवाणी के अनुसार एक संत के हाथों में होगी देश की बागडोर जो अविवाहित होगा। भारत पर चीन और मुसलमान मिलकर आक्रमण करेंगे। इसी भविष्वाणी के संदर्भ में कहा जाता है कि यदि भारत पर कोई हमला होता है तो उस समय देश की बागडोर नरेंद्र मोदी या योगी आदित्यनाथ के हाथों में होगी।
4. जगन्नाथपुरी को जोड़ने वाले एक राष्ट्रीय मार्ग का निर्माण होगा। उड़िसा का अंतिम राजा एक बालक वृद्ध होगा। यानी बालबुद्धि होगा। पुरी के अंतिम राजा गजपति महाराज होगा। (वर्तमान में यही है)। भगवान जगन्नाथ के धाम पुरी मंदिर के उपर से पत्थर नीचे गिरेंगे और मंदिर का ध्वज कई बार गिरेगा।... वर्तमान में ध्वज जलने और गिरने की घटना हुई थी। समुद्र का जल स्तर इतना बढ़ जाएगा कि अंत में भगवान जगन्नाथ के विग्रह को दूसरे स्थान पर ले जाया जाएगा। इस दौरान प्राकृतिक आपदा के चलते भारतवर्ष में नीलंचल (जगन्नाथपुरी) समुद्र के गर्भ में विलीन हो जाएगा।
5. बुजुर्गों और शिक्षकों को निरादर होगा वहीं पाखंडी लोग धर्मगुरु बनकर लोगों को छलेंगे। भविष्य में लोगों के मन में धर्म, संवेनदनशीलता, प्रेम और संस्कार खत्म हो जाएंगे। नेक और धार्मिक भक्तों का मजाक उड़ाया जाएगा। धीरे-धीरे आस्तिकों की संख्या घटेगी और यह दुनिया आस्तिकों और नास्तिकों के बीच विभाजित हो जाएगी। इंसान व्यभिचारी हो जाएंगे। पुरुष का पुरुष से और महिला का महिला से अप्राकृतिक संबंध बनेगा। इंसान के घर पर जानवरों का हमला होगा। आए दिन इंसान और जानवरों में भिड़ंत होते हुए देखेंगे।
6. प्राकृति आपदाएं तबाही मचाएगी, विचित्र महामारी और बीमारियां से जनता त्रस्त रहेगी। हवाएं लोगों को बहुत परेशान करेगी।....महंगाई इतनी बढ़ जाएगी कि जनता सड़पर आंदोलन करेंगे।..वर्तमान में यही सबकुछ हो रहा है।
7. कलयुग के अंत के समय जीवन देने वाला सूर्य जीवन लेने वाला बन जाएगा। महागुप्त पद्म कल्प के अनुसार भगवान जगन्नाथ अपने हाथ में 12 हाथ की खड़ग लेकर पूरी धरती पर भ्रमण करके समस्त मलेच्छ लोगों को संहार करेंगे। जब सभी का संहार हो जाएगा तभी कलियुग का अंत हो जाएगा। भगवान कल्कि संभल ग्राम में होगा। संभल ग्राम उत्तर प्रदेश में भी है और उड़िसा में ही है। कल्कि भगवान का नाम चक्रमणी या चक्रधर होगा। उनके पिता के नाम विष्णुशर्मा होगा।
डिस्क्लेमर : वायरल हो रही उपरोक्त भविष्यवाणियों का प्रमाण हम नहीं दे सकते और न ही इसकी पुष्टि कर सकते हैं। उनकी इन भविष्यवाणियों को कई लोग तोड़-मरोड़ कर भी पेश करते हैं और अपने तरीके से भी प्रचारित कर रहे हैं।
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