क्या होता है अखंड साम्राज्य राजयोग :
- बृहस्पति ग्रह जब वृषभ लग्न के साथ एकादश भाव, सिंह लग्न के साथ पंचम भाव, वृश्चिक लग्न के साथ दूसरे और पंचम भाव सहित कुंभ लग्न के साथ द्वितीय और ग्यारहवें भाव के कारक माने जाते हैं तो अखंड साम्राज्य योग का निर्माण होता है।
- देवगुरु 2रें, 5वें और 11वें भाव के स्वामी होकर अखंड साम्राज्य योग का निर्माण कर रहे हैं। वृषभ लग्न के गुरु 11 घर में, सिंह लग्न में पांचवें, वृश्चिक लग्न में दूसरे और पांचवें घर तथा कुंभ लग्न में दूसरे और ग्यारह घर के कारक को माना जाता है।
- कुंडली के 2रे, 9वें और 11वें घर में गुरु मजबूत चंद्रमा के साथ बैठे हो तो अखंड साम्राज्य योग का निर्माण होता है। कुंडली के दूसरे, 10वें, 11 घर के स्वामी एक केंद्र में स्थित होता है तब अखंड साम्राज्य योग का लाभ मिलता है।
नवपंचम राजयोग :
- आर्द्रा नक्षत्र में सूर्य का गोचर बुध की राशि मिथुन में हो रहा है बुध को बुद्धि, ज्ञान और सद्भावना का कारक माना जाता है जबकि सूर्य प्रगति ऊर्जा संस्कार और संस्कृति के द्योतक हैं।
- 24 जून को बुध भी मिथुन राशि में आ जाएंगे, जो जुलाई तक रहेंगे। इन दोनों ग्रहों के गोचर से बुधादित्य राजयोग का निर्माण हो रहा है।
- शनि के साथ इन दोनों ग्रहों की दृष्टि बनने से शनि के साथ मिलकर नवपंचम राजयोग और विपरीत राजयोग का निर्माण करेंगे।
- शनि और शुक्र जून के महीने में नवपंचम राजयोग बना रहे हैं। 30 मई 2023 को कर्क राशि में शुक्र का गोचर हुआ है। वही शनि की दृष्टि शुक्र पर पड़ रही है। ऐसे में नवपंचम राजयोग का निर्माण हो रहा है।
उपरोक्त योग का प्रभाव:
- सूर्य के शुभ प्रभाव से नौकरी और व्यापार में तरक्की होगी, आत्मविश्वास बढ़ेगा, लीडरशीप करने का मौका मिलेगा। वही पिता, अधिकारी और शासकिय मामलों में सफलता भी मिलती है।
- अखंड साम्राज्य राजयोग, जो अति फलदायी माना जाता है और इसके प्रभाव से जातक वैभव सुख हासिल करते हैं।
- अखंड साम्राज्य राजयोग का लाभ वृषभ सिंह वृश्चिक और कुंभ लग्न के जातकों को मिलता है।
मेष राशि : इस राज के जातकों को उपरोक्त राजयोग का लाभ मिलेगा, क्योंकि इनके तीसरे भाव में शुक्र एवं ग्यारहवें भाव में शनि विराजमान हैं। ऐसे में यदि आप व्यापारी हैं तो व्यापार में दोगुनी बढ़ोतरी होगी। नौकरीपेशा हैं तो वेतनवृद्धि के साथ ही पदोन्नति होगी। लंबी यात्रा का योग भी बनेगा। रिश्तों में मजबूती आएगी।
वृषभ राशि : आपकी राशि में दूसरे में शुक्र एवं दशम में शनि का विराजमान होगा शक्तिशाली योग बना रहा है। इससे अचानक से आर्थिक लाभ होगा। नौकरी में अच्छे अवसर प्राप्त होंगे। पदोन्नति और वेतन वृद्धि के प्रबल योग हैं । व्यापारी हैं तो महत्वपूर्ण रूप से लाभ होगा। सेहत और संबंधों में तेजी से सुधार होगा।
सिंह राशि : भूमि, भवन या वाहन के मालिक बनेंगे। कमाई में बढ़ोतरी होगी। जीवनसाथी के संग संबंधों में सुधार होगा। सेहत में भी तेजी से सुधारा होगा। पुराने रोग और कष्ट समाप्त होंगे। मन का संपात पिटेगा। भाग्य का साथ मिलेगा।
मिथुन राशि : आपकी के लिए यह योग बहुत ही महत्व पूर्ण है। आपकी मान प्रतिष्ठा में बढ़ोतरी होगी। सेहत और संबंधों में सुधार होगा। जीवन में हर ओर से सकारात्मक समाचार सुनाई देंगे। सुख और सुविधाओं का विस्तार होगा। मनोकामनाएं पूर्ण होगी।
अखंड साम्राज्य योग का लाभ:
- धन की कभी कमी नहीं रहती।
- पैतृक संपत्ति का मालिक बन सकता है।
- नौकरी और व्यापार के क्षेत्र में उन्नति करता है।
- सुख सुविधा का विस्तार होता है।
- संतान सुख का फल प्राप्त करता है।
- आध्यात्मिक शक्ति का ज्ञान होता है।
- पारिवारिक सुख मिलता है।
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